Gold फंड या गोल्ड ETF किसमें मिलेगा ज्यादा फायदा, झोला भरने की जल्दी है तो यहां करें निवेश

Gold Fund में म्यूचुअल फंड में किए गए निवेश की तरह इंवेस्ट किया जाता है, इसमें मंथली SIP और लम्पसम निवेश किया जाता है. गोल्ड फंड को आप कभी भी भुना सकते हैं और इसमें कम से कम 1000 रुपए के निवेश से शुरुआत की जा सकती है.

 

जब से शेयर मार्केट में गिरावट का दौर शुरू हुआ है, तभी से इंवेस्टर्स सुरक्षित निवेश का तरीका ढूंढ रहे हैं. वैसे तो सोने को निवेश के लिहाज से सबसे सुरक्षित माना जाता है, लेकिन इसमें निवेश के लिए बड़े अमाउंट की जरूरत होती है.

इसी वजह से छोटे निवेशकों को ध्यान में रखकर सरकार ने गोल्ड फंड और गोल्ड ETF के जरिए निवेश करने की सुविधा दी है. ये निवेश अप्रत्यक्ष तौर पर सोने में होता है और इस पर रिटर्न भी वैसे ही मिलता है. आज हम आपके लिए गोल्ड फंड और गोल्ड ETF में कौन निवेश के लिहाज से बेहतर है, इसकी जानकारी लेकर आए हैं.

क्या होता है Gold Fund?

Gold Fund में म्यूचुअल फंड में किए गए निवेश की तरह इंवेस्ट किया जाता है, इसमें मंथली SIP और लम्पसम निवेश किया जाता है. गोल्ड फंड को आप कभी भी भुना सकते हैं और इसमें कम से कम 1000 रुपए के निवेश से शुरुआत की जा सकती है.

क्या होता है Gold ETFs?

गोल्ड ETFs ऐसे एक्सचेंज ट्रेडेड फंड्स हैं, इसमें शेयर मार्केट में जिस तरीके से कंपनियों के स्टॉक खरीदते हैं. वैसे ही निवेश किया जाता है. Gold ETFs निवेश करने के लिए डीमैट अकाउंट की जरूरत होती है. इसे आप शेयर मार्केट की टाइमिंग के हिसाब से ही कैश करा सकते हैं.

गोल्ड फंड और गोल्ड ETFs किसमें निवेश में फायदा?

गोल्ड फंड और गोल्ड ETFs के बीते एक साल के रिटर्न को देखा जाए तो SBI गोल्ड फंड में 100 फीसदी का रिटर्न मिला है, इसके साथ ICICI प्रू रेगुलर गोल्ड सेविंग्स फंड में 21.65 फीसदी का रिटर्न मिला है. दूसरी ओर गोल्ड ETF में एवरेज 21.94 प्रतिशत का रिटर्न मिला है. पिछले एक साल में गोल्ड पर आधारित दोनों तरह के म्यूचुअल फंड कैटेगरी ने एक जैसे औसत रिटर्न दिए हैं.

विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि गोल्ड फंड उन निवेशकों के लिए उपयुक्त हैं जो व्यवस्थित और लंबी अवधि के लचीलेपन की तलाश में हैं, जबकि गोल्ड ETF उन निवेशकों के लिए आदर्श हैं जिनके पास डीमैट अकाउंट हैं या जो भौतिक सोने को बदलना चाहते हैं.