जीरो पर रहकर भी यूपी की इन 16 सीटें पर बसपा बन गई भाजपा की ‘मददगार’, हार गया INDIA गठबंधन

लोकसभा चुनाव-2024 में बसपा खाली हाथ रही. यूपी में भी उसके खाते में एक भी सीट नहीं आई. हालांकि कई सीटों पर वो तीसरे नंबर पर रही. चुनाव परिणाम के आंकड़े बता रहे हैं कि कैसे उत्तर प्रदेश में वो कुछ सीटों पर बीजेपी की मददगार रही. बसपा को अगर उन सीटों पर उतने वोट नहीं मिलते तो बीजेपी की हार भी हो सकती थी.

 
भारतीय जनता पार्टी

बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के लिए लोकसभा चुनाव-2024 बेहद खराब रहा. उसे एक भी सीट पर जीत नहीं मिली. जिस उत्तर प्रदेश में कभी बसपा की सरकार हुआ करती थी, वहां भी उसका खाता नहीं खुला. लेकिन हां वो यहां पर बीजेपी के लिए मददगार जरूर रही. सूबे की ऐसी 16 सीटें हैं जहां पर उसके वोट ने बीजेपी ने मदद की. आंकड़े इस बात की गवाही दे रहे हैं.

उन 16 सीटें पर बसपा को बीजेपी और उसकी सहयोगी की जीत के अंतर से ज्यादा वोट मिले. इसमें से 14 सीटों पर बीजेपी ने जीत दर्ज की, जबकि 2 सीटों पर उसके सहयोगी ने जीत हासिल की. अगर ये सीटें इंडिया गठबंधन के खाते में चली जातीं तो एनडीए का आंकड़ा 278 पर ही रह जाता. यूपी में बीजेपी के खाते में 33 सीटें आई हैं, अगर इन 14 सीटों पर उसे हार मिलती तो उसकी सीटों की संख्या 19 ही रह जाती है जो एक बड़ा झटका होता.

कौन सी हैं वो सीटें

भदोही का ही उदाहरण ले लें. यहां पर इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार ललितेश त्रिपाठी को 4.2 लाख वोट मिले. जबकि, जीत दर्ज करने वाले बीजेपी विनोद कुमार बिंद के खाते में 4 लाख 59 हजार 982 वोट आए. उन्होंने करीब 45 हजार वोटों से जीत हासिल की. तीसरे नंबर पर बसपा के हरिशंकर रहे. उन्हें 1 लाख 55 हजार वोट मिले. सोचिए अगर यही वोट इंडिया के ललितेश त्रिपाठी के खाते में पड़ते तो उनकी जीत हो जाती.

मिर्जापुर में अपना दल (सोनेलाल) की अनुप्रिया पटेल ने जीत हासिल की. उन्हें 4 लाख 71 हजार 631 वोट मिले. जबकि सपा के रमेश चंद बिंद को 4 लाख 33 हजार 821 वोट मिले. अनुप्रिया को करीब 38 हजार वोटों से जीत मिली. यहां पर तीसरे नंबर पर बसपा रही. मनीष कुमार के खाते में 1 लाख 44 हजार 446 वोट आए. बसपा के यही वोट अनुप्रिया की जीत में अहम साबित हुए.

  • अकबरपुर में बीजेपी के देवेंद्र सिंह को 5 लाख 17 423 वोट मिले. वहीं सपा के राजाराम पाल को 4 लाख 73 78 वोट हासिल हुए. तीसरे नंबर पर बसपा रही. उसके खाते में 73 हजार 140 वोट आए. यानी यहां पर बीजेपी को जीत 44 हजार 345 वोटों से मिली. बसपा के वोट अगर सपा को कन्वर्ट होते तो बीजेपी की हार हो जाती.
  • अलीगढ़ में बीजेपी के सतीश गौतम को 501834 वोट मिले. वहीं सपा के बिजेंद्र सिंह को 486187 वोट मिले. तीसरे नंबर पर बसपा रही. उसके खाते में 123929 वोट आए. यहां पर बीजेपी को 15 हजार 647 वोटों से जीत मिली. यानी यहां पर भी अगर बसपा के वोट सपा को मिलते तो नतीजे बीजेपी के पक्ष में नहीं होते.
  • अमरोहा में बीजेपी को 28 हजार 670 वोटों से जीत मिली. बसपा के खाते में 1 लाख 64 हजार 99 वोट आए. इसमें से अगर बसपा के 30 हजार वोट भी सपा को मिलते तो बीजेपी की हार तय थी.
  • बांसगांव में बीजेपी को 3 हजार 150 वोटों से जीत मिली. बसपा के खाते में 64 हजार 750 पड़े. ये वोट अगर सपा उम्मीदवार को मिलते तो उसकी भारी मतों से जीत होती.
  • भदोही में बीजेपी को 44 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा को 1 लाख 55 हजार वोट मिले.
  • बिजनौर में बीजेपी ने 37 हजार 58 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा के खाते में 2 लाख 18 हजार 986 वोट पड़े.
  • देवरिया में बीजेपी ने 34 हजार 842 वोट से जीत हासिल की. बसपा को 45 हजार 564 मिले.
  • फर्रुखाबाद में बीजेपी ने 2 हजार 678 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा के खाते में 45 हजार 390 वोट आए.
  • फतेहपुर सिकरी में बीजेपी ने 43 हजार 405 वोटों से जीत हासिल की. बसपा को 1 लाख 20 हजार 539 वोट मिले.
  • हरदोई में बीजेपी ने 27 हजार 856 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा उम्मीदवार को 1 लाख 22 हजार 629 वोट मिले.
  • मेरठ में बीजेपी को 10 हजार 585 वोटों से जीत मिली. बसपा के खाते में 87 हजार वोट पड़े.
  • मिर्जापुर में बीजेपी की सहयोगी को 37 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा को 1 लाख 44 हजार वोट मिले.
  • मिसरिख में बीजेपी ने 33 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा को 1 लाख 11 हजार 945 वोट मिले.
  • फूलपुर में बीजेपी ने 4 हजार 332 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा के खाते में 82 हजार वोट आए.
  • शाहजहांपुर में बीजेपी ने 55 हजार वोटों से जीत हासिल की. बसपा को 91 हजार वोट मिले.
  • उन्नाव में बीजेपी को 35 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा के खाते में 72 हजार 527 वोट पड़े.